सूट दो तरह का होता है,एक साधारण एक असाधारण,असाधारण व्यक्ति काम भी असाधारण ही करता है,असाधारण सोचता भी है उसी तरह जेसे देश का असाधारण राजघराना नेहरूगंधी परिवार उदाहरणार्थ राहुल गांधी.जो पार्टी और देश दोनो दोनो पर राहुकाल प्रभावित कर रहा है.खान, पान, पहनावा सब असाधारण.उसी असाधारण कांग्रेसी का बहादुर शाह जफर की तरह वर्तमान राजशाही का अंतिम व्यक्ति राहुल गांधी नेहरू.
राहुल जेसे साधारण हैं वैसे ही साधारण पहनावा भी साधारण है अंतर इतना कि नाना नेहरू की कोट पेरिस से धुल कर आती थी अब नाती पेरिस का का सबसे सस्ता सूट पहनता है कीमत केवल पच्चीस लाख से ऊपर.यही राहुल आगे चल कर भारत के नेता बन का दिवास्वप्न संजोए है.जो राहुल बोलना,उठना बैठना भी नहीं जानता वह भला कैसा नेता होगा देश का.विधाता ने उससे विवेक,बुद्धि,विचार सब छीन लिया है.राजनीति का रंगा सियार की हालत है ऐसे लोगो की
यदि कोई गरीबी से निकला व्यक्ति भारत के ही शहर सूरत में बना सूट पहने तब यह हल्ला मच जाता है कि इसमें सूट क्यों पहना यह तो सूट-बूट की सरकार है,दूसरा वो होता है जो इटली की अरमानी जिसकी 25 लाख से शुरुआत होती है उसे अगर यह गांधी पहने तब वह जायज है.