जौनपुर।
अपर सत्र न्यायाधीश (पॉक्सो) काशी प्रसाद सिंह यादव की अदालत ने गौरा बादशाहपुर थाना क्षेत्र में 8 वर्ष पूर्व शौच के लिए अरहर के खेत में गई नाबालिक से दुष्कर्म करने के आरोपी युवक को दोषसिद्ध पाते हुए 10 वर्ष के कारावास व 15000 रुपए अर्थदंड से दंडित किया।अभियोजन कथानक के अनुसार गौराबादशाहपुर थाना क्षेत्र की निवासी वादिनी ने मुकदमा पंजीकृत करवाया कि वह 16 वर्ष की है और कक्षा 9 में पड़ती है। 26 फरवरी 2015 को 2रू00 बजे दिन में वह घर से कुछ दूर अरहर के खेत में शौच के लिए गई थी। उसी समय गांव का सलमान कुरैशी व उसके दो अन्य साथी खेत में घुस गए और जबरदस्ती पकड़कर अरहर के खेत में उसके साथ बलात्कार किए। जिससे वह बेहोश हो गई। 4रू00 बजे कराहने की आवाज सुनकर बगल के खेत की औरत उसकी मां को बुलाकर लाई तब उसे जौनपुर सदर अस्पताल ले जाया गया, किन्तु डॉक्टर ने स्थिति की गंभीरता को देखते हुए बीएचयू रेफर कर दिया। लेकिन गरीबी की वजह से उसे बीएचयू नहीं ले जाया गया और जौनपुर में ही एक निजी चिकित्सालय में इलाज कराया गया। आराम होने पर पीड़िता ने 3 मार्च 2015 को मुकदमा दर्ज करवाया।
पुलिस ने विवेचना करके तीन आरोपियों के विरुद्ध आरोप पत्र न्यायालय में प्रस्तुत किया। जिसमें एक आरोपी नाबालिग था। जिसका मामला जुवेनाइल कोर्ट भेज दिया गया। शासकीय अधिवक्ता राजेश कुमार उपाध्याय के द्वारा परीक्षित कराए गए गवाहों के बयान एवं पत्रावली पर उपलब्ध साक्ष्यों के परिशीलन के पश्चात अदालत ने आरोपी सलमान को दुष्कर्म के आरोप में दोषसिद्ध पाते हुए 10 वर्ष के कारावास व ₹15000 अर्थदंड से दंडित किया, जबकि दूसरे आरोपी आशिक को साक्ष्य के अभाव में दोष मुक्त कर दिया।
पुलिस ने विवेचना करके तीन आरोपियों के विरुद्ध आरोप पत्र न्यायालय में प्रस्तुत किया। जिसमें एक आरोपी नाबालिग था। जिसका मामला जुवेनाइल कोर्ट भेज दिया गया। शासकीय अधिवक्ता राजेश कुमार उपाध्याय के द्वारा परीक्षित कराए गए गवाहों के बयान एवं पत्रावली पर उपलब्ध साक्ष्यों के परिशीलन के पश्चात अदालत ने आरोपी सलमान को दुष्कर्म के आरोप में दोषसिद्ध पाते हुए 10 वर्ष के कारावास व ₹15000 अर्थदंड से दंडित किया, जबकि दूसरे आरोपी आशिक को साक्ष्य के अभाव में दोष मुक्त कर दिया।