शहर के बीचोबीच स्थित जिले के इकलौता रोडवेज डिपो ने 60 वर्ष की अवधि पूरी कर ली है। पिछले पांच वर्ष से इसके स्थान परिवर्तन की चल रहीं अटकलें फिलहाल समाप्त हो गई हैं। अब पुराने स्थल पर ही अत्याधुनिक सुविधाओं से लैस नया रोडवेज बनकर तैयार होगा। इसके लिए डिपो की ओर से उपलब्ध जमीन का ब्योरा परिवहन निगम को भेज दिया गया है। मल्टीप्लेक्स भवन के साथ हवाई अड्डे की तर्ज पर यह रोडवेज सुसज्जित होगा। जल्द ही यहां निर्माण की चहल-पहल दिखने के आसार हैं।
रोडवेज डिपो से निगम की 86 और अनुबंधित 32 बसों का संचालन किया जा रहा है, मगर भवन की हालत काफी दयनीय हो चुकी है। सड़क के लेवल से डिपो परिसर काफी नीचे हो गया है। बारिश के समय यहां पानी भर जाता है। डिपो परिसर की जलनिकासी व्यवस्था भी ध्वस्त है। यात्री शेड एवं कार्यालय भवन जीर्णशीर्ण है। शासन ने प्रदेश भर के रोडवेज डिपो के कायाकल्प की मुहिम छेड़ी तो इस डिपो की भी दशा सुधरने की उम्मीद बढ़ गई है।
योजना है हवाई अड्डे की तर्ज पर नए रोडवेज भवन का निर्माण करना। डिपो के पास कार्यशाला और यात्री परिसर मिलाकर 18 हजार वर्ग मीटर जमीन उपलब्ध है। इसमें जीर्णशीर्ण हो चुके पुराने भवनों को ढहाकर मल्टीप्लेक्स भवन बनाया जाएगा। यात्रियों के लिए सुसज्जित प्रतीक्षालय, वातानुकूलित शॉपिंग मॉल, आधुनिक रेस्तरां की व्यवस्था होगी। नए भवन में स्वचालित सीढि़यां और लिफ्ट की भी व्यवस्था रहेगी। बहुमंजिला इमारत की छत से पूरे शहर का नजारा देखने को मिलेगा। यात्रा के साथ पिकनिक स्पॉट के रूप में यह लोगों को आने के लिए आकर्षित करेगा।
हाईवे के किनारे रोडवेज शिफ्ट करने की हुई थी हलचल
पांच वर्ष पहले रोडवेज डिपो को शहर से बाहर हाईवे के किनारे शिफ्ट करने की हलचल तेज हुई थी। मगर जमीन की उपलब्धता नहीं हो पाई। इसी बीच सांसद की पहल पर शहर से दस किमी दूर कटया में रोडवेज स्थापित करने की योजना बनी, मगर इस प्रस्ताव का विरोध हो गया। इसके बाद प्रशासन ने नए स्थल के तलाश में रुचि लेना बंद कर दिया। इससे पुराने रोडवेज को नए सिरे से सजाने संवारने की योजना तैयार होने लगी है।
नया रोडवेज बनाने में खर्च होंगे दो सौ करोड़
नया रोडवेज बनाने में 200 करोड़ रुपये खर्च किए जाएंगे। पिछले दिनों जनपद भ्रमण पर आए परिवहन मंत्री दयाशंकर सिंह ने आधुनिक सुविधाओं के साथ रोडवेज डिपो बनाने की घोषणा भी कर दी है। उन्होंने एक महीने में इसके टेंडर की प्रक्रिया पूरी कर लिए जाने का दावा भी किया है। इसके अलावा जल्द ही वातानुकूलित डबल डेकर एवं इलेक्टि्रक बसों को भी उपलब्ध कराने का भरोसा दिलाया है। सबकुछ ठीक रहा तो इस रोडवेज की चमक बढ़ जाएगी।
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निर्माण शुरू होते ही हट जाएंगे अवैध कब्जेदार
रोडवेज डिपो परिसर के बाहर चहारदीवासी से सटकर दर्जन भर से अधिक दुकानों का निर्माण हुआ है। इससे बाहर से रोडवेज नहीं दिखता है। कई बार डिपो की तरफ से चहारदीवारी के बाहर हुए कब्जे को हटवाने का प्रयास किया गया। प्रशासनिक मदद न मिलने से यह संभव नहीं हो पाया। अब यह कब्जेदार भी चंद दिनों के मेहमान हैं। नए निर्माण को लेकर होने वाली तोड़-फोड़ में इन दुकानों का अस्तित्व अपने आप खत्म हो जाएगा।
रोडवेज डिपो से निगम की 86 और अनुबंधित 32 बसों का संचालन किया जा रहा है, मगर भवन की हालत काफी दयनीय हो चुकी है। सड़क के लेवल से डिपो परिसर काफी नीचे हो गया है। बारिश के समय यहां पानी भर जाता है। डिपो परिसर की जलनिकासी व्यवस्था भी ध्वस्त है। यात्री शेड एवं कार्यालय भवन जीर्णशीर्ण है। शासन ने प्रदेश भर के रोडवेज डिपो के कायाकल्प की मुहिम छेड़ी तो इस डिपो की भी दशा सुधरने की उम्मीद बढ़ गई है।
योजना है हवाई अड्डे की तर्ज पर नए रोडवेज भवन का निर्माण करना। डिपो के पास कार्यशाला और यात्री परिसर मिलाकर 18 हजार वर्ग मीटर जमीन उपलब्ध है। इसमें जीर्णशीर्ण हो चुके पुराने भवनों को ढहाकर मल्टीप्लेक्स भवन बनाया जाएगा। यात्रियों के लिए सुसज्जित प्रतीक्षालय, वातानुकूलित शॉपिंग मॉल, आधुनिक रेस्तरां की व्यवस्था होगी। नए भवन में स्वचालित सीढि़यां और लिफ्ट की भी व्यवस्था रहेगी। बहुमंजिला इमारत की छत से पूरे शहर का नजारा देखने को मिलेगा। यात्रा के साथ पिकनिक स्पॉट के रूप में यह लोगों को आने के लिए आकर्षित करेगा।
हाईवे के किनारे रोडवेज शिफ्ट करने की हुई थी हलचल
पांच वर्ष पहले रोडवेज डिपो को शहर से बाहर हाईवे के किनारे शिफ्ट करने की हलचल तेज हुई थी। मगर जमीन की उपलब्धता नहीं हो पाई। इसी बीच सांसद की पहल पर शहर से दस किमी दूर कटया में रोडवेज स्थापित करने की योजना बनी, मगर इस प्रस्ताव का विरोध हो गया। इसके बाद प्रशासन ने नए स्थल के तलाश में रुचि लेना बंद कर दिया। इससे पुराने रोडवेज को नए सिरे से सजाने संवारने की योजना तैयार होने लगी है।
नया रोडवेज बनाने में खर्च होंगे दो सौ करोड़
नया रोडवेज बनाने में 200 करोड़ रुपये खर्च किए जाएंगे। पिछले दिनों जनपद भ्रमण पर आए परिवहन मंत्री दयाशंकर सिंह ने आधुनिक सुविधाओं के साथ रोडवेज डिपो बनाने की घोषणा भी कर दी है। उन्होंने एक महीने में इसके टेंडर की प्रक्रिया पूरी कर लिए जाने का दावा भी किया है। इसके अलावा जल्द ही वातानुकूलित डबल डेकर एवं इलेक्टि्रक बसों को भी उपलब्ध कराने का भरोसा दिलाया है। सबकुछ ठीक रहा तो इस रोडवेज की चमक बढ़ जाएगी।
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निर्माण शुरू होते ही हट जाएंगे अवैध कब्जेदार
रोडवेज डिपो परिसर के बाहर चहारदीवासी से सटकर दर्जन भर से अधिक दुकानों का निर्माण हुआ है। इससे बाहर से रोडवेज नहीं दिखता है। कई बार डिपो की तरफ से चहारदीवारी के बाहर हुए कब्जे को हटवाने का प्रयास किया गया। प्रशासनिक मदद न मिलने से यह संभव नहीं हो पाया। अब यह कब्जेदार भी चंद दिनों के मेहमान हैं। नए निर्माण को लेकर होने वाली तोड़-फोड़ में इन दुकानों का अस्तित्व अपने आप खत्म हो जाएगा।