शहरी सरकार के लिये राज्य निर्वाचन आयुक्त ने कमर कसी, बढ़े क्षेत्र, मतदाता व कानून-व्यवस्था पर हुआ मंथन!


मनोज श्रीवास्तव/लखनऊ।


 शहरी निकाय चुनाव की तैयारियों को लेकर राज्य निर्वाचन आयुक्त मनोज कुमार ने चुनाव की तैयारियों को लेकर बैठक किया। जिसमें प्रमुख सचिव गृह संजय प्रसाद, नगर विकास के प्रमुख सचिव अमृत अभिजात, सचिव रंजन कुमार और स्पेशल डीजी प्रशांत कुमार मौजूद रहे। बैठक में खास तौर पर चुनाव के दौरान कानून व्यवस्था को लेकर मंथन हुआ। आयोग ने कहा कि इस बाबत कार्य योजना तैयार की जाए और शीघ्र ही हर बिंदु आयोग के समक्ष रखा जाए। निर्वाचन आयोग ने प्रत्येक जनपद में पुलिस की कार्रवाई की रिपोर्ट भी पेश करने को कहा है। चुनाव की तैयारियों को लेकर पुलिस ने क्या किया, कितने लोगों को मुचलका पाबंद किया और कितने लोगों पर किस धारा में कार्रवाई की सभी की रिपोर्ट रखने को कहा गया है।लगभग एक करोड़ मतदाता बढ़े हैं, समय रहते अगली बैठक में अधिक से अधिक मतदान सुनिश्चित कराने की क्रियान्वयन योजना पर कोई तैयारी अधूरी न रहे।

इससे पहले राज्य निर्वाचन आयुक्त ने कहा कि नगरीय निकाय सामान्य निर्वाचन, 2017 के मुकाबले 2023 में होने वाले निकाय चुनाव में 96 लाख 36 हजार 280 नये मतदाता बने हैं।2023 के नगरीय निकाय में मतदाताओं की कुल संख्या 4,32,31,827 हो गयी है, जबकि 2017 में हुए चुनाव में कुल मतदाताओं की संख्या 3,35,95,547 थी, इस तरह 96,36,280 मतदाताओं की बढ़ोतरी हुई है। मतदाताओं की संख्या में वृद्धि निकायों की सीमा के विस्तार के कारण हुई है, नये नगर पंचायतों के गठन के कारण ग्रामीण क्षेत्रों को भी शहरी सीमा में शामिल किया गया है। 21,23,268 मतदाता ऐसे हैं, जिन्हें ग्रामीण क्षेत्रों से शहरी क्षेत्रों में स्थानांतरित किया गया है।एक जनवरी, 2023 को 18 वर्ष की आयु पूर्ण करने वाले चार लाख 33 हजार 88 नये मतदाता पहली बार मताधिकार का इस्तेमाल करेंगे।

बता दें कि उत्तर प्रदेश निकाय चुनाव में ओबीसी आरक्षण को लेकर सुप्रीम कोर्ट से हरी झंडी मिलने के बाद आगे की प्रक्रिया शुरू हो गयी है। राज्‍य में 762 नगर निकाय हैं लेकिन दो निकायों में कानूनी अड़चन है। फिलहाल यूपी सरकार ने 17 नगर निगम की 199 नगर पालिका परिषद की और 544 नगर पंचायतों की आरक्षण की अनंतिम अधिसूचना गुरुवार को जारी कर दी थी, जिसके लिए 6 अप्रैल के भीतर आपत्तियां मांगी गयी हैं। माना जा रहा है कि अप्रैल के पहले पखवाड़े में नगरीय निकाय चुनाव की घोषणा हो सकती है।इस लिये राज्य निर्वाचन आयोग दिन-रात एक कर तटस्थ निर्वाचन सम्पन्न कराने के लिये कमर कस लिया है।

Post a Comment

Previous Post Next Post

Contact Form