सिद्धार्थनगर, उत्तरप्रदेश। प्रतीकात्मक चित्र
समाज में कैसे-कैसे विडंबना पूर्ण कार्य होते हैं और आदमी को क्या-क्या भोगना पड़ता है यह कृतार्थ हुआ कल सिद्धार्थनगर जनपद के एक शादी समारोह में वर पक्ष और कन्या पक्ष पूरे खुशी के साथ शादी समारोह में व्यस्त थे जब मंच पर दूल्हा-दुल्हन पहुंच गए जय माल पहुंचा पहनाने के समय दुल्हन ने दूल्हे से कह दिया कि मेरी शादी हो चुकी है और मैं शादीशुदा हूं इसलिए दूसरी शादी नहीं कर सकती यह सुनते ही सहारा सम्मान मंडप अवाक हो गया और चारों ओर सन्नाटा छा गया और सिटी इतनी गड़बड़ हो गई वर पक्ष और कन्या पक्ष दोनों सर नीचे किए हुए किसी को कुछ कहने की स्थिति में नहीं थे सदाशयता तो वर पक्ष ने दिखाया इतना होने के बाद वर पक्ष ने वहां से तुरंत चले जाना ही अच्छा समझा और लड़के पक्ष पर क्या बीत रही होगी इसकी कल्पना की जा सकती है यह बात अलग है कि समाज में इस तरह की घटनाएं घट रही हैं मां-बाप को इसकी तनिक भी जानकारी नहीं है लाखों का खर्च करने के बाद आखिर शादी तय हुई होगी अगर यही पता चल जाता तो दोनों परिवार अपमानित होने से बच सकता था