बस्तीःउत्तरप्रदेश,5 दिसम्बर
केइंद्रिय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय ने हाल ही में कोविड -19 महामारी के दौरान मानसिक रोगों के प्रबंधन के लिए नए दिशा-निर्देश जारी किए हैं ताकि मानसिक विकारों से ग्रस्त कमजोर रोगियों एवं प्रथम पंक्ति के स्वास्थ्य कार्यकर्ताओं में कोरोनोवायरस के जोखिम को कम किया जा सके। इसके लिए सरकार ने मानसिक स्वास्थ्य केंद्र और निकटवर्ती कोविड अस्पताल के बीच हॉटलाइन संपर्क स्थापित करने का भी सुझाव दिया है ताकि सेवाओं को आसानी से प्राप्त किया जा सके।
विशेष रूप से यह दिशानिर्देश ऐसे लोगों की जरूरतों को ध्यान में रखकर बनाये गए हैं जो कोरोना पॉजिटिव होने के साथ ही आघात या अवसाद से भी पीड़ित है या जो इस महामारी के कारण अवसाद से पीड़ित हो गए हैं और जो पहले से ही किसी गंभीर मानसिक स्वास्थ्य समस्याओं से ग्रस्त हैं। इन विशेष दिशानिर्देशों का पालन सुनिश्चित कराने के लिए एक नोडल अधिकारी की भी नियुक्ति की जायेगी। इसके अतिरिक्त गाइड लाइन में मानसिक स्वास्थ्य सेवाओं को समुदाय में भी उपलब्ध कराने की बात की गयी है जिसके लिए समुदाय में पहले से मौजूद मानसिक रोगियों एवं कोविड-19 के दौरान आये नए मानसिक मामलों को कम करने के लिए सुरक्षात्मक उपायों का प्रचार प्रसार किया जाएगा।
साथ ही डिजिटल, प्रिंट और सोशल मीडिया प्लेटफार्मों के माध्यम से मानसिक स्वास्थ्य एवं कोविड-19 पर सटीक तथ्यों के प्रचार- प्रसार के लिए आईईसी सामग्री का उपयोग भी किया जायेगा और मानसिक स्वास्थ्य के क्षेत्र में कार्य कर रहे गैर सरकारी संगठनों की भी मदद ली जाएगी। गाइड लाइन में कहा गया है कि मानसिक रोगियों एवं उनकी देखभाल करने वाले लोगों को कोरोना से बचने के लिए केवल आपातकालीन परिस्थितियों में ही मानसिक स्वास्थ्य केंद्र में आना चाहिए। बुजुर्ग या ऐसे मानसिक रोगी जो ओपीडी तक जाने में असमर्थ हैं उनके लिए गृह भ्रमण जैसी सेवायें शुरू की जायेंगी।
आनन्द गौरव शुक्ल, प्रभारी जिला कार्यक्रम अधिकारी, गैर संचारी रोग कार्यक्रम ने बताया की बस्ती जिले के मानसिक स्वास्थ्य प्रकोष्ठ द्वारा अबतक 4880 ब्व्टप्क्-19 मरीजों का मानसिक स्वास्थ्य काउन्सलिंग किया जा चुका, प्रत्येक दिवस मानसिक स्वास्थ्य टीम द्वारा कोविड-19 मरीजों एवं उनके परिवार से फोन के से वार्ता किया जाता है तथा कोविड-19 के बचाव एवं नियन्त्रण सम्बन्धी जानकारी भी दिये जा रहें है. साथ ही साथ उन्होंने ने बताया की “किरण“ नामक हेल्पलाइन 1800-500-0019 के जरिये भी मानसिक स्वास्थ्य सम्बन्धी जानकारी ली जा सकती है।
विशेष रूप से यह दिशानिर्देश ऐसे लोगों की जरूरतों को ध्यान में रखकर बनाये गए हैं जो कोरोना पॉजिटिव होने के साथ ही आघात या अवसाद से भी पीड़ित है या जो इस महामारी के कारण अवसाद से पीड़ित हो गए हैं और जो पहले से ही किसी गंभीर मानसिक स्वास्थ्य समस्याओं से ग्रस्त हैं। इन विशेष दिशानिर्देशों का पालन सुनिश्चित कराने के लिए एक नोडल अधिकारी की भी नियुक्ति की जायेगी। इसके अतिरिक्त गाइड लाइन में मानसिक स्वास्थ्य सेवाओं को समुदाय में भी उपलब्ध कराने की बात की गयी है जिसके लिए समुदाय में पहले से मौजूद मानसिक रोगियों एवं कोविड-19 के दौरान आये नए मानसिक मामलों को कम करने के लिए सुरक्षात्मक उपायों का प्रचार प्रसार किया जाएगा।
साथ ही डिजिटल, प्रिंट और सोशल मीडिया प्लेटफार्मों के माध्यम से मानसिक स्वास्थ्य एवं कोविड-19 पर सटीक तथ्यों के प्रचार- प्रसार के लिए आईईसी सामग्री का उपयोग भी किया जायेगा और मानसिक स्वास्थ्य के क्षेत्र में कार्य कर रहे गैर सरकारी संगठनों की भी मदद ली जाएगी। गाइड लाइन में कहा गया है कि मानसिक रोगियों एवं उनकी देखभाल करने वाले लोगों को कोरोना से बचने के लिए केवल आपातकालीन परिस्थितियों में ही मानसिक स्वास्थ्य केंद्र में आना चाहिए। बुजुर्ग या ऐसे मानसिक रोगी जो ओपीडी तक जाने में असमर्थ हैं उनके लिए गृह भ्रमण जैसी सेवायें शुरू की जायेंगी।
आनन्द गौरव शुक्ल, प्रभारी जिला कार्यक्रम अधिकारी, गैर संचारी रोग कार्यक्रम ने बताया की बस्ती जिले के मानसिक स्वास्थ्य प्रकोष्ठ द्वारा अबतक 4880 ब्व्टप्क्-19 मरीजों का मानसिक स्वास्थ्य काउन्सलिंग किया जा चुका, प्रत्येक दिवस मानसिक स्वास्थ्य टीम द्वारा कोविड-19 मरीजों एवं उनके परिवार से फोन के से वार्ता किया जाता है तथा कोविड-19 के बचाव एवं नियन्त्रण सम्बन्धी जानकारी भी दिये जा रहें है. साथ ही साथ उन्होंने ने बताया की “किरण“ नामक हेल्पलाइन 1800-500-0019 के जरिये भी मानसिक स्वास्थ्य सम्बन्धी जानकारी ली जा सकती है।