जनपद में सुरक्षित मातृत्व कर कलक्टर का जोर,प्रत्येक 9 तारीख को बिशेष समीक्षा का निर्णय !

 


 बस्ती 08 नवमबर, उत्तरप्रदेश


, जिलाधिकारी आशुतोष निरंजन ने प्रधानमंत्री सुरक्षित मातृत्व अभियान माह के प्रत्येक 09 तारीख को प्रभावी ढंग से लागू करने का निर्देश दिया है। उन्होंने निर्देश दिया है कि इस दिन गर्भवती महिलाओं के अल्ट्रासाउंड जांचके लिए प्रत्येक सीएचसी, पीएचसी पर दो दो अल्ट्रासाउंड केंद्र चिन्हित करें।  समीक्षा में उन्होंने पाया कि केवल जिला मुख्यालय पर 03 अल्ट्रासाउंड केंद्र चिन्हित किए गए हैं, जो पूर्व में किए गए जांच के धन का भुगतान न होने पर अल्ट्रासाउंड जांच नहीं कर रहे हैं।


जिलाधिकारी ने कहा कि ग्रामीण क्षेत्रों से महिलाएं जिला मुख्यालय पर अल्ट्रासाउंड जांच के लिए नहीं आ सकती हैं। उनकी सुविधा को देखते हुए जिलाधिकारी ने प्रत्येक सीएचसी पीएचसी पर ही 2-2 अल्ट्रासाउंड केंद्र चिन्हित करने का निर्देश दिया है। साथ ही उन्होंने निर्देश दिया कि केवल माह की 09 तारीख को अभियान में आने वाली महिलाओं की ही अल्ट्रासाउंड जांच निःशुल्क निजी केंद्रों पर कराई जाएगी और इन्हीं का भुगतान भी किया जाएगा।


  उन्होंने सीएमओ को निर्देश दिया कि माह की 09 तारीख को जांच कराए गए अल्ट्रासाउंड का भुगतान सुनिश्चित कराएं तथा भविष्य में इसका कड़ाई से अनुपालन करें। अल्ट्रासाउंड केवल डॉक्टर के द्वारा रेफर किए जाने पर ही किया जाएगा और प्रत्येक सीएचसी, पीएचसी पर इसका रिकॉर्ड मेंटेन किया जाएगा। उल्लेखनीय है कि जिले में 85 अल्ट्रासाउंड सेंटर पंजीकृत हैं। उन्होंने इसके नोडल डॉ० सीएल कनौजिया को निर्देश दिया कि गर्भवती महिलाओं का अल्ट्रासाउंड न करने वाले का सेंटर रजिस्ट्रेशन रद्द करें।


 जिलाधिकारी ने हरैया, कप्तानगंज, रामनगर तथा रुधौली में मिनी पोषण पुनर्वास केंद्र संचालित करने के लिए यहां के प्रभारी चिकित्सा अधिकारियों को बधाई दिया। साथ ही उन्होंने यह भी निर्देश दिया कि गंभीर रोग से ग्रसित बच्चों को जिला अस्पताल भेजें। सामान्य रूप से अति कुपोषित बच्चों का ही यहां पर इलाज हो। उल्लेखनीय है कि जिलाधिकारी की पहल पर जिले के ग्रामीण क्षेत्रों के अति कुपोषित बच्चों एवं उनके माता-पिता की सुविधा को देखते हुए नजदीक में मिनी पोषण पुनर्वास केंद्र शुरू किए गए हैं। इन चारों केंद्रों पर वर्तमान में 04 बच्चों का इलाज भी चल रहा है। इसके सफल संचालन के बाद जिले के अन्य सीएचसी,पीएचसी पर भी 2-2 बेड अति कुपोषित बच्चों के लिए आरक्षित रख कर उनका इलाज किया जाएगा।


जिलाधिकारी ने सभी बच्चों को बर्थ डोज के लिए निर्धारित बीसीजी, हेपेटाइटिस, पोलियो के टीके 24 घंटे के भीतर लगाए जाने का निर्देश दिया है। समीक्षा में उन्होंने पाया कि कई जगहों पर इसका अनुपालन नहीं किया जा रहा है। उन्होंने आरसीएच रजिस्टर पर भी माता एवं शिशु का डाटा फीड कराने का निर्देश दिया है। उन्होंने निर्देश दिया है कि जिन निजी चिकित्सालयों ने अभी तक आयुष्मान भारत योजना के कार्ड बनाने के लिए अभी तक वार्ड में कैंप नहीं लगाया है अगले सप्ताह उनका कैंप आयोजित करें।


जिलाधिकारी ने बैठक में परिवार नियोजन, अंतराल दिवस, आयुष्मान भारत योजना, एचबीएनसी कार्यक्रम, मैटरनल डेथ रिव्यू, सीएचसी पीएचसी पर भर्ती मरीजों को नाश्ता एवं भोजन, जननी सुरक्षा योजना, एंटीनेटल सेवाएं, कोविड-19 एवं अन्य कार्यक्रमों में भुगतान की स्थिति की समीक्षा किया।


 


बैठक का संचालन डीपीएम राकेश पांडे ने किया। इसमें सीडीओ सरनीत कौर  ब्रोका, सीएमओ डॉ० एके गुप्ता, डॉ० सीके वर्मा, डॉ० फखरेयार, डॉ० सीएल कनौजिया, डॉ० सुषमा सिन्हा, डॉ० रोचस्पति पांडे, डॉ०विजय यादव, डॉ० स्मृति, डॉ० स्वाति त्रिपाठी, डॉ० आईए अंसारी एवं मेडिकल ऑफिसर गण उपस्थित रहे।


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