बस्ती । उ.प्र. माध्यमिक शिक्षक संघ के मण्डलीय मंत्री संजय द्विवेदी ने भारत सरकार द्वारा केन्द्रीय कर्मचारियों और पेंशन धारकों को एक जनवरी 2020, जुलाई 2020 और एक जनवरी 2021 से दिए जाने वाली तीन महंगाई भत्ते की किस्तों को रोके जाने को निराशाजनक बताया। सरकार से इस पर पुनर्विचार करने का अनुरोध किया है।
श्री द्विवेदी ने बयान जारी कर कहा है कि देश और प्रदेश का हर कर्मचारी आपदा के समय सरकार के साथ खड़ा है।ज्यादातर केंद्रीय एवं राज्य सरकार के कर्मचारियों ने अपना एक दिन का वेतन प्रधानमंत्री राहत कोष या मुख्यमंत्री राहत कोष में स्वेच्छा से दान भी किया है, लेकिन भारत सरकार द्वारा महंगाई भत्ते की तीन किस्ते रोके जाने से कर्मचारियों का बहुत बड़ा नुकसान होने जा रहा है।
उन्होंने बताया कि सरकार ने उक्त धन का एरियर भी देने से मना किया है, इसलिए कर्मचारियों का लाखों रुपये से ज्यादा नुकसान होगा। यदि सरकार चाहे तो उसके पास धन अर्जन के अनेक साधन उपलब्ध हैं। आवश्यकता पड़ने पर कर्मचारी स्वेच्छा से और भी दान कर सकता है लेकिन महंगाई भत्ता फ्रीज किया जाना नितांत अलोकतांत्रिक कदम प्रतीत होता है।
केंद्र सरकार के इस निर्णय का प्रांतीय उपाध्यक्ष मार्कण्डेय सिंह, मण्डलीय अध्यक्ष राम पूजन सिंह, गिरिजानंद यादव, मोहिबुल्लाह खान, अजय प्रताप सिंह, जय प्रकाश मिश्रा, गुलाब चन्द्र मौर्या ने भी विरोध किया है। सभी नेताओं सम्मिलित रूप से निर्णय पर पुनर्विचार करने की मांग की है।